बिहार विधानसभा चुनावों के बीच शनिवार को समस्तीपुर ज़िले में बड़ी संख्या में लावारिस पड़ी वीवीपैट पर्चियां मिलने को लेकर विवाद तेज़ हो गया है.
राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) ने चुनाव आयोग पर गंभीर आरोप लगाए हैं.
आरजेडी ने सवाल किया है, "समस्तीपुर के सरायरंजन विधानसभा क्षेत्र के केएसआर कॉलेज के पास सड़क पर भारी संख्या में ईवीएम से निकलने वाली वीवीपैट पर्चियां फेंकी हुई मिलीं. कब, कैसे, क्यों किसके इशारे पर इन पर्चियों को फेंका गया?"
पार्टी ने चुनाव आयोग से इसका जवाब मांगा है, जबकि बीजेपी ने चुनाव आयोग पर भरोसा जताया है.
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बीजेपी सांसद मनोज तिवारी ने कहा, "चुनाव आयोग बहुत सतर्क और सजग है. चुनाव आयोग ने संज्ञान ले लिया है और कार्रवाई शुरू कर दी है, इसलिए किसी को भी किसी प्रकार की आशंका करने की ज़रूरत नहीं है. चुनाव आयोग पर हमें भरोसा है. हर जगह चुनाव बहुत अच्छे से हो रहा है."
बीजेपी नेता और बिहार के उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने कहा, "जो लोग ज़िम्मेदार हैं उन पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी."
उधर, सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण ने केंद्रीय निर्वाचन आयोग से जवाब मांगा है और कहा कि यहां फिर से मतदान कराया जाना चाहिए.
प्रशांत भूषण का जवाब देते हुए समस्तीपुर के ज़िला प्रशासन ने एक्स पर लिखा, "ये वीवीपैट की पर्चियां ईवीएम कमिशनिंग के दौरान की हैं, मतदान से इसका कोई संबंध नहीं है. मतदान वाली वीवीपैट की पर्चियां वीवीपैट में सुरक्षित हैं और स्ट्रॉन्ग रूम में त्रिस्तरीय सुरक्षा में प्रोटोकॉल के हिसाब से बंद हैं."
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समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक़, मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) ने इस मामले पर एक बयान जारी कर वीवीपैट पर्चियां पाए जाने की पुष्टि की है.
सीईसी ने कहा कि समस्तीपुर के डीएम को मौक़े पर पहुंचकर जांच करने का निर्देश दिया गया है. लापरवाही के लिए संबंधित एआरओ को निलंबित कर दिया गया है और एफ़आईआर दर्ज की जा रही है.
चुनाव आयोग ने कहा कि ये मॉक पोल की वीवीपैट पर्चियां हैं, इसलिए चुनाव की अखंडता बरक़रार रहेगी.
वहीं, समस्तीपुर के डीएम रोशन कुशवाहा ने बताया, "सरायरंजन विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत डिसपैच सेंटर के पास कुछ पर्चियां लावारिस अवस्था में पाई जाने की सूचना मिली थी. हमने उम्मीदवारों की मौजूदगी में उन पर्चियों को सीज़ किया है."
उन्होंने बताया, "इस मामले की जांच की जा रही है. इस संबंध में प्राथमिकी दर्ज करने की कार्रवाई की जा रही है. लापरवाही बरतने वाले दो कर्मियों को चिह्नित कर उनके ख़िलाफ़ विभागीय कार्यवाही और निलंबन की सिफ़ारिश की गई है."
डीएम ने बताया कि उम्मीदवारों की मौजूदगी में पर्चियों को ज़ब्त कर लिया गया है.
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आरजेडी के अलावा महागठबंधन में शामिल विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) के नेता मुकेश सहनी ने भी इस पर सवाल उठाए हैं.
मुकेश सहनी ने पत्रकारों से कहा, "चुनाव आयोग को जवाब देने की आवश्यकता है. सरायरंजन का क्षेत्र नीतीश कुमार जी के सबसे क़रीबी विजय चौधरी का क्षेत्र है. वो सरकार में पॉवरफुल व्यक्ति हैं. इस तरह की गड़बड़ी और भी जगह हो सकती है. इस पर चुनाव आयोग को जवाब देना चाहिए."
उन्होंने कहा, "हम पहले से कहते रहे हैं और वोटर अधिकार यात्रा में हमने पूरे बिहार में घूम घूम कर यही बात कही कि ये वोट चोरी कर रहे हैं."
उन्होंने विपक्ष के नेताओं के हेलीकॉप्टर को उड़ान भरने की अनुमति में जानबूझकर देरी करने के आरोप लगाए और कहा, "आज भी हमारे चार कार्यक्रम रद्द हुए. एयरपोर्ट में हमें दो तीन घंटे इंतज़ार कराया जाता है. हर चीज़ को भारत सरकार और मोदी जी ने कंट्रोल में ले लिया है और विपक्ष को परेशान किया जा रहा है."
कांग्रेस ने पूछा है, "चुनाव आयोग को बताना चाहिए कि किसके कहने पर वीवीपैट पर्चियों को फेंका गया?"
समाजवादी पार्टी ने एक्स पर लिखा, "बिहार के समस्तीपुर में कूड़े के ढेर पर वीवीपैट की पर्चियां मिलना बेहद स्तब्धकारी, सवालिया और भाजपा नियंत्रित चुनाव आयोग की नियत पर सवाल खड़े कर रहा है."
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इस बीच एक और विवाद पैदा हो गया है. महनार विधानसभा क्षेत्र में स्ट्रॉन्ग रूम का कैमरा कथित रूप से बंद होने से जुड़ा एक वीडियो वायरल हो रहा है.
इस पर वैशाली की ज़िलाधिकारी वर्षा सिंह ने किसी भी तरह की अनियमितता से इनकार किया.
उन्होंने पत्रकारों से कहा, "आरएन कॉलेज में पांच विधानसभा क्षेत्रों के लिए स्ट्रॉन्ग रूम बनाया गया है. वहां उम्मीदवारों या उनके एजेंटों की निगरानी के लिए डिस्प्ले यूनिट लगाए गए हैं. वीडियो में जो घटना दिखाई दे रही है, वह रात 11:52 बजे की है. उस समय केवल महनार विधानसभा का डिस्प्ले ब्लैंक हुआ था, जबकि बाकी चार क्षेत्रों के डिस्प्ले सामान्य रूप से चलते रहे. वीडियो में एक पिकअप वैन को बाहर निकलते हुए भी देखा जा सकता है."
डीएम ने बताया, "जांच में पता चला कि रात 11:52 बजे टीवी का ऑटो टाइमर लॉक सक्रिय हो गया था, जिससे डिस्प्ले अचानक बंद हो गया. हालांकि, वीडियो रिकॉर्डिंग जारी रही और प्रशासनिक कंट्रोल रूम में सभी पांचों विधानसभा क्षेत्रों के डिस्प्ले सही ढंग से काम कर रहे थे."
"उस समय लालगंज विधानसभा के दो आरजेडी एजेंट मौजूद थे जो कंट्रोल रूम में ये देखने पहुंचे और महनार का वीडियो फीड भी चालू था. बावजूद वीडियो को भ्रामक जानकारी फैलाने के उद्देश्य से साझा किया गया."
उधर राष्ट्रीय जनता दल ने समस्तीपुर के स्ट्रॉन्ग रूम में भी कुछ संदिग्ध गतिविधियों के आरोप लगाए हैं.
एक्स पर आरजेडी ने लिखा, "अब समस्तीपुर के मोहिउद्दीन नगर विधानसभा क्षेत्र के स्ट्रॉन्ग रूम में घुसते कुछ संदिग्ध दिखे. चुनाव आयोग स्थिति स्पष्ट करे कि ब्रजगृह के अंदर ये संदिग्ध लोग कौन थे और क्या कर रहे थे?"
इस पर समस्तीपुर ज़िला प्रशासन ने जवाब देते हुए लिखा, "ये ज़िला एवं सूचना विज्ञान पदाधिकारी डीआईओ एनआईसी समस्तीपुर हैं, जिनके द्वारा मतगणना की तैयारी के मद्देनज़र इंटरनेट इत्यादि सुविधाओं को लगाने हेतु निरीक्षण किया जा रहा है."
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ANI शनिवार को बिहार के बेतिया में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रैली हुई चुनाव प्रचार के अखिरी चरण होने की वजह से शनिवार को राज्य में रैलियों और जनसभाओं की गहमागमी रही.
जनता दल यूनाइटेड (जदयू) नेता संजय झा ने दावा किया कि पार्टी की स्थिति पहले से बेहतर होगी.
उन्होंने कहा, "मैं कोई नंबर तो नहीं दे सकता लेकिन साल 2010 से भी स्थिति अच्छी होगी."
बीजेपी सांसद रवि किशन ने कहा कि उन्हें एनडीए की सरकार बनने का भरोसा है.
उन्होंने कहा, "पहले चरण के मतदान के बारे में ज़मीन से जो ख़बरें आ रही हैं उसके बाद विपक्ष परेशान है और वो जो बयानबाज़ी कर रहे हैं वो बुरी तरह हार की छटपटाहट है."
उन्होंने आरोप लगाया, "इन लोगों की सरकार नहीं है तब मेरी हत्या की धमकी मिल रही है, तो सोचिए आ जाता तो क्या होता."
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा, "पहले भी उन्होंने 400 पार का नारा दिया था और बहुत कुछ कहा था. लेकिन हमें लोगों पर भरोसा है. जनता न्याय करेगी और तय करेगी कि उनके लिए कौन अच्छा है. जंगलराज पुराना मुद्दा है. उन्होंने 20 साल में जंगलराज ख़त्म क्यों नहीं किया."
उधर जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर शनिवार को मधुबनी में रोड शो कर रहे थे और इसी दौरान बीजेपी और स्वतंत्र उम्मीदवार भी रोड शो कर रहे थे. प्रशांत किशोर ने दोनों ही उम्मीदवारों का अभिवादन किया.
शनिवार को प्रशांत किशोर ने कहा कि बढ़े हुए मतदान प्रतिशत का मतलब है कि बिहार में बदलाव निश्चित रूप से आ रहा है.
जबकि समाजवादी पार्टी के नेता अखिलेश यादव ने भी मधुबनी में एक जनसभा को संबोधित किया.
अपने प्रचार में वो एक एलईडी वाली लालटेन मंच पर दिखा रहे हें. मधुबनी की एक जनसभा में भी उन्होंने ऐसा ही किया.
उन्होंने कहा, "याद रखिए, बिहार के बाद यूपी में भी चुनाव होने वाले हैं. इसलिए जब दोनों तरफ़ युवा मुख्यमंत्री होंगे, तो अधिक काम होगा कि नहीं? और हम मदद भी करेंगे. बिहार के साथ हमारा बहुत गहरा नाता है."
उधर कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी की कटिहार में रैली थी, जहां उन्होंने कहा, "कांग्रेस और महागठबंधन वही लड़ाई लड़ रहे हैं जो महात्मा गांधी ने लड़ी थी."
शनिवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे, पूर्व केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी, हरियाणा के मंत्री अरविंद कुमार शर्मा आदि शीर्ष नेता बिहार में मौजूद थे.
अमित शाह ने शनिवार को पूर्णिया में चुनावी सभा को संबोधित किया और कहा, "मैं सीमांचल और बिहार के लोगों को बताना चाहता हूं कि अगले पांच साल में हम बिहार को घुसपैठिया मुक्त कर देंगे."
दूसरे चरण का मतदान 11 नवंबर को है और रविवार शाम चुनाव प्रचार अभियान समाप्त हो जाएगा. नतीजे 14 नवंबर को आएंगे.
बीबीसी के लिए कलेक्टिव न्यूज़रूम की ओर से प्रकाशित.
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